हिंद देश के निवासी सब जन एक हैं
हिंद देश के निवासी सब जन एक हैं
रंग रूप वेश भाषा चाहे अनेक हैं
१.बेला गुलाब जूही चंपा चमेली
प्यारे प्यारे फूल गुंथे
माला में एक हैं
2. कोयल की कूक प्यारी पपीहे की टेर न्यारी
गा रही तराना बुलबुल
राग मगर एक है
3. गंगा - जमुना ब्रहमपुत्र कृष्णा कावेरी
जाके मिल गयी सागर में
हुई सब एक हैं
हिन्द देश के निवासी सब जन एक हैं
रंग रूप वेश भाषा चाहे अनेक हैं .
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Iske poet Kaun hai kisne likhi hai yeh Kavita
जवाब देंहटाएंहिन्द देश का प्यारा झंडा ऊँचा सदा रहेगा
जवाब देंहटाएंतूफान और बादलों से भी नहीं झुकेगा ,
नहीं झुकेगा नहीं झुकेगा झंडा नहीं झुकेगा ।
हिन्द देश का प्यारा झंडा , ऊँचा सदा रहेगा ।
केसरिया बल भरने वाला सदा है सच्चाई
हरा रंग है, हरी हमारी धरती है अंगड़ाई
कहता है ये चक्र हमारा, कदम नहीं रुकेगा
हिन्द देश का प्यारा झंडा ऊँचा सदा रहेगा
शान नहीं ये झंडा है, ये अरमान हमारा
ये बल पौरुष है सदियों का ,ये बलिदान हमारा
आसमान में फहराए या सागर में लहराए
जहां-जहां ये झंडा जाए, ये सन्देश सुनाये
ये आज़ाद हिन्द है, ये दुनिया आज़ाद करेगा
हिन्द देश का प्यारा झंडा ऊँचा सदा रहेगा
नहीं चाहते हम दुनिया को, अपना दास बनाना
नहीं चाहते हम औरों के, मुंह की रोटी खा जाना
सत्य, न्याय के लिए हमारा लहू सदा बहेगा
हिन्द देश का प्यारा झंडा ऊँचा सदा रहेगा
हम कितने सुख सपने लेकर, इसको फहराते हैं
इस झंडे पर मर मिटने की, कसम सदा खाते हैं
हिन्द देश का ये झंडा, घर-घर में लहराएगा
हिन्द देश का प्यारा झंडा ऊँचा सदा रहेगा
– अज्ञात
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